चंडीगढ़: भारतीय वायुसेना (Indian Air Force) के लंबे और गौरवशाली इतिहास में आज एक महत्वपूर्ण अध्याय समाप्त हुआ, जब देश ने अपने विश्वसनीय मिग-21 (MiG-21) फाइटर जेट को विदाई दी। यह विमान छह दशकों से अधिक समय तक भारतीय आसमान का प्रहरी रहा और कई पीढ़ियों के पायलटों का भरोसा बना रहा।
शुक्रवार को आयोजित फेयरवेल समारोह में, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने मिग-21 को केवल वायुसेना का हिस्सा नहीं, बल्कि पूरे भारत के लिए एक प्रतीक बताया। उन्होंने कहा कि मिग-21 ने दशकों तक देश की रक्षा का भार अपने विंग्स पर उठाया और हमेशा भारतीय सेना का भरोसा और सम्मान बनाए रखा।
Speaking at the Decommissioning Ceremony of the IAF MiG-21 in Chandigarh. https://t.co/5YVAwjlHPX
— Rajnath Singh (@rajnathsingh) September 26, 2025
“सिर्फ एक फाइटर जेट नहीं, हमारी वीरता की कहानी है”
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने मिग-21 को भारतीय वायुसेना के परिवार का सदस्य बताया। उन्होंने कहा कि यह जेट दशकों से भारतीय आसमान में उड़ान भरते हुए देश को मजबूत करने में योगदान देता रहा है। सिंह ने भावनात्मक होते हुए कहा, “मिग-21 सिर्फ एक फाइटर जेट नहीं है, यह हमारी वीरता, साहस और बलिदान की कहानी है। यह हमारे राष्ट्रीय गौरव और शक्ति का प्रतीक रहा है।”
उन्होंने मिग-21 के सम्मान को भारतीय सांस्कृतिक परंपरा का हिस्सा बताया। उन्होंने कहा कि हमें हर उस चीज को सम्मान देना चाहिए जिसने हमारे जीवन और राष्ट्र की रक्षा में योगदान दिया है।

1971 के युद्ध में ऐतिहासिक योगदान
रक्षा मंत्री ने मिग-21 के ऐतिहासिक योगदान को याद किया, विशेष रूप से 1971 के युद्ध के दौरान। उन्होंने बताया कि विपरीत परिस्थितियों में भी मिग-21 ने ढाका के गवर्नर हाउस पर हमला किया और उसी दिन युद्ध के परिणाम की रूपरेखा तैयार कर दी। इसके अलावा, मिग-21 ने अपने लंबे इतिहास में ‘विक्रम’, ‘त्रिशूल’ और ‘बादल’ जैसे कई महत्वपूर्ण ऑपरेशन्स में निर्णायक भूमिका निभाई।
राजनाथ सिंह ने कहा कि हर ऐतिहासिक मिशन में मिग-21 ने तिरंगे का सम्मान बढ़ाया और विश्व पटल पर भारत की वीरता को साबित किया।

तकनीकी अद्यतन और हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड का योगदान
मिग-21 की लंबी सेवा में तकनीकी अद्यतन का बड़ा हाथ रहा। रक्षा मंत्री ने हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड (HAL) की मेहनत की सराहना की, जिसने इसके रखरखाव और अपडेट में सराहनीय काम किया।
सिंह ने बताया कि वर्तमान में जो मिग जेट उड़ाए जा रहे हैं, वे 40 साल पुराने हैं, लेकिन वायुसेना ने इसे अत्याधुनिक तकनीक से लैस रखकर उसकी क्षमता बनाए रखी।

गौरवशाली सफर का समापन
मिग-21 ने भारतीय वायुसेना में अपने 62 साल के लंबे सफर में कई पीढ़ियों की सेवा की। यह विमान कई दशकों तक देश की सुरक्षा का प्रतीक रहा और भारतीय वायुसेना की ताकत को वैश्विक मंच पर पहचान दिलाई।
राजनाथ सिंह ने कहा कि मिग-21 का सफर गर्व और सम्मान का सफर रहा है, और यह हमेशा भारतीय सेना और देशवासियों के दिलों में रहेगा। इस विदाई के साथ, भारतीय वायुसेना आधुनिक और उन्नत विमानों के साथ भविष्य की चुनौतियों के लिए तैयार है, लेकिन मिग-21 की विरासत हमेशा प्रेरणा देती रहेगी।
CULMINATION OF MIG-21 OPERATION IN IAF https://t.co/jqqywWowrY
— Indian Air Force (@IAF_MCC) September 26, 2025
