8th Pay Commission: केंद्र सरकार के लाखों कर्मचारियों को आठवें वेतन आयोग के गठन की घोषणा का बेसब्री से इंतजार है। हालांकि पिछले हफ्ते केंद्रीय मंत्रिमंडल की बैठक में महंगाई भत्ता (DA) और महंगाई राहत (DR) बढ़ाने का ऐलान तो हुआ, लेकिन आठवें वेतन आयोग के गठन पर सस्पेंस बरकरार है। सूत्रों के मुताबिक, अगर आयोग के गठन और रिपोर्ट की प्रक्रिया तय समय पर पूरी होती है, तो जुलाई 2027 से नई सैलरी लागू हो सकती है, जिसके साथ कर्मचारियों को 18 महीने का एरियर भी मिलने की संभावना है।
आयोग के गठन को लेकर सबसे बड़ी वजह Terms of Reference (ToR) का अप्रूव न होना है। केंद्रीय मंत्रिमंडल ने इस आयोग के गठन को जनवरी 2025 में ही मंजूरी दे दी थी, लेकिन अभी तक इसे औपचारिक रूप से अधिसूचित नहीं किया गया है। यही ToR आयोग के कामकाज का ढांचा तय करता है। सरकार ने जनवरी में नेशनल काउंसिल-जॉइंट कंसल्टेटिव मशीनरी (NC-JCM) से इनपुट मांगे थे, जिसने अपनी सिफारिशें उसी महीने भेज दी थीं। NC-JCM केंद्रीय कर्मचारियों का शीर्ष मंच है।
NC-JCM के महासचिव शिव गोपाल मिश्रा ने अगस्त में उम्मीद जताई थी कि ToR जल्द ही मंजूर हो जाएगा। मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, दिवाली से पहले इस पर कोई आधिकारिक ऐलान हो सकता है, हालांकि सरकार की ओर से अभी तक कोई औपचारिक घोषणा नहीं की गई है।
पिछले वेतन आयोगों के समय को देखें तो किसी भी वेतन आयोग को अपनी रिपोर्ट तैयार करने में 18 से 24 महीने का समय लगता है, जिसके बाद सरकार 3 से 9 महीने समीक्षा करती है। उदाहरण के लिए, 7वां वेतन आयोग फरवरी 2014 में बना था और नवंबर 2015 में रिपोर्ट सौंप दी थी। अगर इसी समय-सीमा को मानक माना जाए, तो भी 8वां आयोग इस साल गठित होने के बावजूद अप्रैल 2027 से पहले रिपोर्ट नहीं दे पाएगा। हालांकि, अगर प्रक्रिया थोड़ी तेज होती है, तो रिपोर्ट 2026 के अंत या 2027 की शुरुआत तक आ सकती है। NC-JCM के नेताओं के मुताबिक, चाहे आयोग जब भी लागू हो, इसका प्रभाव 1 जनवरी 2026 से माना जाना चाहिए। इसका मतलब है कि अगर रिपोर्ट जुलाई 2027 में लागू होती है, तो कर्मचारियों को 18 महीने का एरियर मिल सकता है। 18 महीने का एरियर और जुलाई 2027 से सैलरी बढ़ोतरी को कर्मचारियों के लिए सबसे बेहतर स्थिति माना जा रहा है।
